देश

MP : मतगणना की तैयारियां लगभग पूरी, 3 दिसंबर को तस्वीर होगी साफ

भोपाल । मध्यप्रदेश में विधानसभा निर्वाचन के तहत 17 नवंबर को हुए मतदान के लगभग दो सप्ताह बाद तीन दिसंबर को होने वाली मतगणना को अब महज चार दिन शेष रहने के बीच प्रशासन की सभी तैयारियां अब लगभग अंतिम दौर में हैं। तीन दिसंबर को मतगणना के साथ ही नई सरकार को लेकर तस्वीर साफ हो जाएगी।

आधिकारिक जानकारी के अनुसार तीन दिसंबर को सुबह आठ बजे से सभी 52 जिला मुख्यालयों में स्थापित केंद्रों में मतगणना शुरु होगी। मतगणना के हर राउंड के परिणाम प्रदर्शित किए जाएंगे। सुबह आठ बजे से पोस्टल बैलेट की गिनती शुरु होगी, उसके आधे घंटे बाद ईवीएम में दर्ज मतों की गणना होगी। पोस्टल बैलेट की गणना समाप्त होने के बाद हर उम्मीदवार को मिले डाक मतों की घोषणा की जाएगी।

मतगणना के परिणाम भारत निर्वाचन आयोग की वेबसाइट रिजल्ट्स डॉट ईसीआई डॉट जीओवी डॉट इन और वोटर हेल्पलाइन ऐप के माध्यम से देखे जा सकेंगे। मतगणना के परिणाम सीईओमध्यप्रदेश डॉट एनआईसी डॉट इन पर प्रदर्शित किए जाएंगे।

इसी बीच राजनीतिक दल भी मतगणना के पूर्व अपनी तैयारियों में जुटे हैं। इसी क्रम में राज्य में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी की प्रदेश इकाई के अध्यक्ष और लोकसभा सांसद विष्णुदत्त शर्मा के नेतृत्व में दो दिन पहले पार्टी ने चुनाव से जुड़े अपने राज्य भर के प्रतिनिधियों को वर्चुअल प्रशिक्षण दिया। इस दौरान पार्टी के सभी प्रत्याशी और संगठन से जुड़े लोगों की मतगणना की बारीकियों के बारे में समझाइश दी गई। वहीं कांग्रेस ने अपने सभी प्रत्याशियों को राजधानी भोपाल बुलाकर उन्हें मतगणना के लिए प्रशिक्षित किया।

राज्य की सभी 230 सीटों पर 17 नवंबर को एक साथ मतदान हुआ था। लगभग पांच करोड़ 60 लाख से अधिक मतदाताओं में से 76़ 22 प्रतिशत लोगों ने वोट डाले। राज्य विधानसभा चुनाव के इतिहास में इस बार सबसे अधिक मतदान दर्ज किया गया है। वर्ष 2018 के विधानसभा चुनाव में 75़ 63 प्रतिशत और वर्ष 2013 के चुनाव में 72़ 69 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया था। इससे अधिक मतदान राज्य विधानसभा चुनाव में कभी नहीं हुआ।

राज्य में सोलहवीं विधानसभा के गठन के लिए हो रहे चुनाव में कुल दो हजार 533 उम्मीदवार मैदान में हैं, जिनमें 2280 पुरुष, 252 महिलाएं और एक अन्य (थर्ड जेंडर) प्रत्याशी शामिल हैं। मुख्यमंत्री एवं भाजपा नेता शिवराज सिंह चौहान बुधनी से, पूर्व मुख्यमंत्री एवं प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ छिंदवाड़ा से और केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर दिमनी से, प्रहलाद पटेल नरसिंहपुर से और फग्गन सिंह कुलस्ते मंडला जिले के निवास से अपनी किस्मत आजमा रहे हैं। इसके अलावा भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय इंदौर एक क्षेत्र से तथा चार सांसद, राज्य सरकार के दो दर्जन से अधिक मंत्री और अन्य प्रमुख नेताओं की किस्मत भी मतदान के बाद ईवीएम में कैद हो गयी।

कुल देा हजार 533 प्रत्याशियों में भाजपा और कांग्रेस के 230-230 के अलावा बसपा के 181, सपा के 71 और 1166 निर्दलीय प्रत्याशी भी शामिल हैं। मतदाताओं की कुल संख्या पांच करोड़ 60 लाख 58 हजार से अधिक है, जिसमें दो करोड़ 87 लाख 82 हजार से ज्यादा पुरुष और दो करोड़ 71 लाख, 99 हजार से ज्यादा महिलाएं शामिल हैं। अन्य मतदाता यानी थर्ड जेंडर की संख्या 1292 है।

राज्य में पंद्रहवीं विधानसभा के गठन के लिए वर्ष 2018 में हुए विधानसभा चुनाव में किसी भी दल काे स्पष्ट बहुमत (116 सीट) नहीं मिला था। उस समय कांग्रेस 114 सीटों के साथ सबसे बड़े दल के रूप में उभरी थी और उसने अन्य दलों के साथ मिलकर दिसंबर 2018 में सरकार बनायी थी। भाजपा को 109 सीटों पर ही संतोष करना पड़ा था। इसके अलावा चार निर्दलीयों के साथ ही बसपा के दो और सपा के एक प्रत्याशी ने विजय हासिल की थी।

मार्च 2020 में तत्कालीन कांग्रेस नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया के अपने समर्थक विधायकों के साथ दलबदल करने के कारण कांग्रेस सरकार का पतन हो गया था और भाजपा फिर से सत्ता में आ गयी। इसके बाद हुए उपचुनावों के चलते विधानसभा में वर्तमान में भाजपा के सदस्यों की संख्या बढ़कर 127 और कांग्रेस सदस्यों की संख्या घटकर 96 हो गयी है। नयी सरकार के गठन को लेकर तस्वीर तीन दिसंबर को मतगणना के साथ स्पष्ट हो जाएगी।

सम्बंधित समाचार

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button