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जदयू सांसद ललन सिंह ने जहरीली शराब मामले में संवैधानिक संस्थाओं के दुरुपयोग का लगाया आरोप

जनता दल (यूनाइटेड) के अध्यक्ष राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह ने मंगलवार को लोकसभा में कहा कि राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने बिहार में जहरीली शराब पीने से लोगों की मौत के मामले में जांच करने की बात की है जो संवैधानिक संस्थाओं का दुरुपयोग है।

उन्होंने सदन में शून्यकाल के दौरान यह विषय उठाया जिसके बाद भारतीय जनता पार्टी के कुछ सदस्यों ने उनकी बात का विरोध किया और फिर दोनों के बीच नोकझोंक देखने को मिली।

बिहार के मुंगेर से लोकसभा सदस्य राजीव रंजन सिंह ने कहा, ‘‘राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने बिहार सरकार को सूचना दी है कि वह छपरा में जहरीली शराब से लोगों की मौत के मामलों की जांच करेगा। यह मानवाधिकार आयोग का मामला कहां से आ गया?’’

उन्होंने दावा किया कि संवैधानिक संस्थाओं का दुरुपयोग किया जा रहा है, जो नहीं होना चाहिए।

सिंह ने कहा, ‘‘अगर बिहार के मामले की मानवाधिकार आयोग जांच कर रहा है तो कर्नाटक के मामले की जांच क्यों नहीं कर रहा, मोरबी (गुजरात) की पुल दुर्घटना की जांच क्यों नहीं कर रहा?’’

उन्होंने आरोप लगाया कि संवैधानिक संस्थाओं का दुरुपयोग किया जा रहा है।

इस पर भाजपा सांसद निशिकांत दुबे और सत्तापक्ष के कुछ अन्य सदस्यों ने आपत्ति जताई। इसके बाद दोनों ओर के सदस्यों के बीच हल्की नोकझोंक भी हुई।

सदन में शून्यकाल के दौरान भाजपा सांसद मनोज तिवारी ने झारखंड में जैन धर्म के पवित्र स्थान सम्मेद शिखरजी को पर्यटन स्थल घोषित किए जाने का विषय उठाया और कहा कि केंद्र सरकार को इसमें हस्तक्षेप करना चाहिए ताकि इस स्थान की शुद्धता और पवित्रता बनी रह सके।

इस पर पर्यटन मंत्री जी किशन रेड्डी ने कहा, ‘‘हम झारखंड सरकार से बातचीत कर रहे हैं। हमारी कोई भूमिका नहीं है। हमने कोई घोषणा नहीं की है।’’

लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने मवेशियों के चारे की मूल्य वृद्धि का विषय उठाया और कहा कि ‘‘गाय के नाम पर राजनीति करने वाली पार्टी इस मामले में ध्यान नहीं दे रही’’।

भाजपा के दिनेश लाल यादव ‘निरहुआ’ ने सेना में ‘अहीर रेजीमेंट’ बनाने की मांग एक बार फिर सदन में उठाई।

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